आधारताल में गरुण दल की छापेमारी, कई प्रतिष्ठानों का औचक निरीक्षण


जबलपुर। कलेक्टर श्री दीपक सक्सेना के निर्देशन में गठित गरुण दल ने अनुविभागीय अधिकारी आधारताल श्री पंकज मिश्रा के नेतृत्व में आज आधारताल क्षेत्र के कई प्रतिष्ठानों पर औचक निरीक्षण किया। इस दौरान खाद्य पदार्थों की गुणवत्ता, व्यवसायिक नियमों के पालन और अवैध गतिविधियों की गहन जांच की गई।

खाद्य पदार्थों के नमूने संग्रहित, प्रयोगशाला जांच के लिए भेजे गए

निरीक्षण के दौरान गरुण दल ने इंदौर सेव भंडार, आधारताल से मिठाई कराची हलवा, राजभोग, नमकीन, पिज़्ज़ा बेस, पनीर आदि खाद्य पदार्थों के नमूने एकत्र किए। इसी प्रकार, मेन रोड स्थित मेन्यू रेस्टोरेंट से गेहूं का आटा, धनिया पाउडर, भास्कर नमक और रिफाइंड सोयाबीन तेल के नमूने लिए गए। ये सभी नमूने राज्य खाद्य परीक्षा प्रयोगशाला, भोपाल भेजे जाएंगे। यदि खाद्य सामग्री अमानक पाई जाती है तो खाद्य सुरक्षा अधिनियम के तहत दोषियों के विरुद्ध न्यायालय में कार्रवाई की जाएगी।

न्यूनतम वेतन और बाल श्रम अधिनियम के उल्लंघन पर सख्ती

आधारताल चौराहा स्थित श्रीरंग इंदौर सेव भंडार में न्यूनतम वेतन अधिनियम, मध्य प्रदेश दुकान स्थापना अधिनियम एवं बाल श्रम अधिनियम के अंतर्गत निरीक्षण किया गया। जांच में पाया गया कि दो कर्मचारियों को न्यूनतम वेतन से कम भुगतान किया जा रहा था और संस्थान में वेतन पंजी व अधिसमय पंजी संधारित नहीं थी। इसके अलावा, बाल श्रम अधिनियम का सारांश भी प्रदर्शित नहीं किया गया था। इस संबंध में प्रतिष्ठान संचालक को सात दिनों के भीतर स्पष्टीकरण प्रस्तुत करने के निर्देश दिए गए हैं।

घरेलू गैस सिलेंडर के दुरुपयोग पर कार्रवाई

संयुक्त निरीक्षण दल ने मेन रोड स्थित मेन्यू रेस्टोरेंट का भी आकस्मिक निरीक्षण किया, जहां रेस्तरां मालिक श्री दीपक गुप्ता मौजूद थे। जांच के दौरान वहां HPCL कंपनी के तीन घरेलू एलपीजी सिलेंडर का व्यावसायिक उपयोग करते हुए पाया गया। रेस्टोरेंट में इन सिलेंडरों से भोजन बनाकर व्यावसायिक रूप से ग्राहकों को परोसा जा रहा था। संचालक द्वारा कोई वैध दस्तावेज प्रस्तुत नहीं करने के कारण सिलेंडर जब्त कर मामला कलेक्टर न्यायालय में प्रस्तुत किया गया

फार्मेसी की जांच, दस्तावेज प्रस्तुत करने के निर्देश

औषधि निरीक्षक की टीम ने सत्यम मेडिकोज, बिरसा मुंडा तिराहा आधारताल का निरीक्षण किया। जांच में फार्मेसी संचालक श्री सुनील जैन और फार्मासिस्ट सत्यम जैन मौजूद रहे। निरीक्षण के दौरान पाया गया कि दुकान में लाइसेंस प्रदर्शित नहीं किया गया था और औषधियों के क्रय बिल भी उपलब्ध नहीं कराए गए। दुकानदार को तीन दिन के भीतर आवश्यक दस्तावेज जिला खाद्य एवं औषधि प्रशासन कार्यालय में प्रस्तुत करने के निर्देश दिए गए। इसके अलावा, दवा स्टॉक को व्यवस्थित रूप से रखने के लिए भी निर्देश जारी किए गए

गरुण दल की सख्ती से मचा हड़कंप

गरुण दल की इस सघन कार्रवाई से क्षेत्र के व्यापारिक प्रतिष्ठानों में हड़कंप मच गया। प्रशासन ने साफ किया है कि व्यावसायिक नियमों के उल्लंघन, खाद्य सुरक्षा मानकों की अनदेखी और अवैध गतिविधियों पर सख्त कार्रवाई जारी रहेगी

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